संतान प्राप्ति के उपाय
कुंडली में संतान सुख को देखने के लिए हम कुंडली के पंचम भाव और पांचमेश भाव को देखते हैं|
पंचमेश भाव पर किन ग्रहों की शुभ दृष्टि है यह हम पुरुष और महिला दोनों की कुंडली में देखते हैं|
साथ ही D-7 अर्थात सप्तांश कुंडली का महत्व भी अधिक होता है यह देखने के लिए कि जातक को संतान सुख में कोई विलंभ तो नही| अगर ऐसा है तो हम कुछ विशेष उपायों को करके समस्या का समाधान प्राप्त कर सकते हैं|
1. नि:संतान दंपत्ति, संतान गोपाल यंत्र अपने घर में स्थापित करें व संतान गोपाल स्त्रोत का पाठ करें|
2. भगवान कृष्ण को चाँदी की बाँसुरी अर्पण करें और दोनो लोग प्रेम भक्ति से प्रार्थना करें|
3. ब्राह्मणों की और गौ माता की सेवा करें |
4. किसी भी माह की अष्तमी से 41 दिन तक भगवान कृष्ण की तस्वीर या मूर्ति के आयेज शुद्ध देशी घी का दीपक जलाए तथा माखन मिश्री का भोग लगाएँ|
5. लड्डू गोपाल्जी की विशी विधान से पूजा करने से घर में संतान सुख मिलता है|
6. कृष्ण जन्माष्टमी के दिन से शुरू कर के अगर 41 दिन तक इस मंत्र की माला अथवा 27 बार इस मंत्र का जाप किया जाए तो विशेष लाभ होगा:
देवकी सुतम गोविंदम वासुदेवं जगतपतिम|
देहिम तन्यम कृष्णा त्वम अहम शरणागतम||
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